घिसे-पिटे फार्मूलों के बजाए आतंकवाद के व्यापार के मुद्दे को उठाती है हितेश क्रिस्टी की सेक्टर बालाकोट

घिसे-पिटे फार्मूलों के बजाए आतंकवाद के व्यापार के मुद्दे को उठाती है हितेश क्रिस्टी की सेक्टर बालाकोट

आजकल फिल्में सच्ची घटनाओं से प्रेरित हुआ करती हैं. उसी सिलसिले को आगे बढ़ाते हुए बालाकोट हमले से प्रेरित एक फिल्म "सेक्टर बालाकोट" आने वाली है. सीमा पार से आतंकवाद को लेकर बॉलीवुड हमेशा ही दूध मांगोगे तो खीर देंगे, कश्मीर मांगोगे तो चीर देंगे जैसे जुमलों का सहारा लेता रहा है. लेकिन सेक्टर बालाकोट में आतंकवाद पर बनाई गई फिल्मों में परोसे जाने वाले घिसे-पिटे फार्मूलों के बजाए गंभीर और ज्वलंत मुद्दों को उठाया गया है. बॉलीवुड के 110 साल के इतिहास में सेक्टर बालाकोट पहली फिल्म है, जो आतंकवाद की मूल वजह, इसकी आड में चल रहे व्यापार और इसे संचालित करने वाले आकाओं के असल मंसूबों को उजागर करती है. 

मुंबई में इस फ़िल्म के पोस्टर, टीज़र, ट्रेलर और इसके देशभक्ति भरे गीत "वंदे मातरम" को मशहूर एक्टर डायरेक्टर प्रोड्यूसर सोहेल खान खान ने 24 फरवरी को लॉन्च किया. फिल्म देशभर के सिनेमाघरों में 17 फरवरी को रिलीज़ हो रही है.

लांचिंग में फ़िल्म का टीज़र, ट्रेलर और वंदे मातरम गाना दिखाया गया, जिसे सभी ने पसन्द किया. इस फिल्म में अश्मित पटेल मुख्य भूमिका निभा रहे हैं, जबकि उनके अलावा फेमिना मिस इंडिया जिनल पंड्या, विपुल गुप्ता (स्पेशल 26 फेम) जितेंद्र त्रेहान और पुनीत इस्सर भी महत्वपूर्ण भूमिका में हैं. 

सोहेल खान ने बताया कि मैंने फ़िल्म सेक्टर बालाकोट का ट्रेलर, टीज़र और गाना देखा, जो मुझे एक अच्छी कोशिश लगी. सभी एक्टर और टेक्नीशियन ने मुझे लगता है कि इसमें 200 प्रतिशत दिया है. फ़िल्म का सब्जेक्ट भी अच्छा है.

फिल्म का निर्देशन युवा एनआरआई हितेश क्रिस्टी ने हितेश क्रिस्टी फिल्म प्रोडक्शन के बैनर तले किया है. फ़िल्म के गाने शारिब- तोशी ने संगीतबद्ध किये और गाए हैं, जबकि कहानी, पटकथा और संवाद पुष्पेंद्र आल्बे और जलज सक्सेना ने लिखे हैं.

"यह दुनिया की पहली फिल्म है जो आतंकवाद के व्यापार जैसे बेहद जरूरी मुद्दे को उठाती है. किस तरह से मजहब और जिहाद की आड में इसे कई बीलियन डाॅलर का बिजनैस बना दिया गया है, सैक्टर बालाकोट इसी मसले पर बात करती है" फिल्म के निर्देशक हितेश क्रिस्टी ने बताया.

सैक्टर बालाकोट का फिल्मांकन सिनेमैटोग्राफर सुनील पटेल ने किया है, जबकि बैकग्राउंड म्यूजिक अमर मोहिले ने दिया है. फिल्म की शूटिंग गुजरात के बडौदा, पावागढ के जंगलों और मुंबई की फिल्मसिटी में की गई.